Saturday, September 1, 2007

गायोँ की तस्करी ? + गायोँ की नस्लेँ


" हेल्लो ...हेल्लो ...जी ...हमारी कजरी गैया दीख नहीँ रही ..जी हाँ दारोगा जी, शाम को सारी गौ आ गयीँ थीँ ..एक हमारी कजरी न आयी :-((
..आप पता करेँ ..मेहरबानी होगी सा'ब.... जी मिल जावे तो खबर कर दीजो हुजूर, ईँहा घर माँ सारे लोग परशान हैँ जी .
.अच्छा जी चलो राम राम ..हम फोनवा काट रहे हैँ "
भारत के ग्रामीण इलाकोँ मेँ आधुनिक सँपर्क माध्यमोँ की आये दिन उपयोगिता बढती जा रही है .
.तो ऐसा ही एक द्रश्य आपके सामने रख रही हूँ .
...और ये इस तरह दीमाग मेँ आया ..जब ये अचरज भरी खबर पढी ..
गायोँ की तस्करी ?
जी हाँ ..बी बी सी पर ये समाचार पढकर अजीब भाव आया मन मेँ ! बोर्डर सीक्युरीटी फोर्स के सिपाहीयोँ का अब ये एक काम और बढ गया है कि बाँग्ला देश की सीमा पर तस्करोँ के गिरोह की खुफियागतिविधियोँ पर कडी निगरानी रखी जाये. पस्चिम बँगाल के मुर्शीबाद व अन्य ग्रामीण इलाकोँ से गायोँ की भारी मात्रा मेँ तस्करी की जा रही है
-ये भारत की गायोँ की नस्लेँ हैँ -
(...आप अँग्रेज़ी शब्द पर क्लिक करके उन पर विस्तार से पढ सकेँगे )
Amritmahal -- अमृत महाल
Deoni -- देओनी
Gaolao -- गाओलाओ
Gir -- गिर
Hallikar -- हल्लीकर
Hariana -- हरियाणा
Kankrej -- काँकरेज
Khillari -- खिल्लारी
Malvi -- मालवी
Nagori -- नागोरी
Nimari -- निमरी
Ongole -- ओँगोळे
Rathi -- रथी
Red Sindhi -- लाल सिँधवी
Sahiwal -- साहीवाल
Sunandani -- सुनँदिनी
Tharparkar -- थरपरकर
और ये बँगाल की गायोँ की नस्ल है
और ये गाय की नस्ल है " ब्राह्मण "
और ये पाकीस्तान व भारत मेँ पायी जानेवाली नस्ल "चन्नी " है
तस्करी इस्लिये क्यूँकि भारत , गौ माँस का निस्काषन नहीँ करता चूँकि अधिकतर भारतीय गौ माँस नही खाते.
( यहाँ मेरा आशय गौ माँस भक्षण का विरोध करना या स्वीकार करना नहीँ है - मैँने पहले भी कई बार कहा है कि मैँ व्यक्ति - स्वातँत्रय मेँ विश्वास रखती हूँ - और ना ही मेरी बात सुनकर कोई अपनी राय वा सोच बदलने वाला है -- इस्लिये,बस सारे तथ्योँ पर ही गौर फर्माया जाये )...
हर गौ को एक विशेष पहचान का कार्ड दिया जायेगा जिसपर विवरण होगा - जैसे , आधी पूँछ कटी हुई है या दाँयाँ कान तूटा हुआ है -- इत्यादी
चौँकिये मत !!
और सीमावर्ती इलाकोँ की रुरक्षा दलोँ का कहना है कि रोज २०,००० से ३०,००० हज़ार गायेँ सीमा पार चुराकर पशु कत्ल खानोँ मेँ या तो तस्करोँ के चोर खानोँ मेँ हाँक कर ले जायी जातीँ हैँ
http://news.bbc.co.uk/2/hi/south_asia/6970305.stm
अमरीका मेँ गौ माँस भक्षण प्रचुर मात्रा मेँ होता है. गौ की कई सारी नस्लेँ यहाँ पाई जातीँ हैँ - जिन मेँ जर्सी गाय दूध बहुत बडी मात्रा मेँ देती है और उसी कारण गौ पालकोँ की पहली पसँद है --
Jersey ---- जर्सी
Kerry -- केरी
Milking Devon --मिल्किँग डेवोन
Milking Shorthorn --मिल्किँग शोर्टहोर्न
Norwegian Red -- नोर्वेजीयन रेड
Ayrshire --आय्अरशायर
Brown Swiss -- ब्राउन स्वीस
Canadienne -- केनेडाइन
Dutch Belted -- डच बेल्टेड
Guernsey -- गर्नसी
Holstein (Holstein-Friesian) --होल्स्टीन
गाय पर और अधिक जानकारी के लिये देखिये --

8 comments:

अभय तिवारी said...

बढि़या जानकारी

Unknown said...

जी बहुत ही अच्छा लिखा आपने। प्रस्तुत विवरण लाभप्रद है। आगे भी ऐसी जानकारी देती रहियेगा

Manish Kumar said...

इस जानकारी का शुक्रिया !

ghughutibasuti said...

सही में मोबाइल फोन का सदुपयोग छोटे धंधों में लगे लोग खूब कर रहे हैं । जहाँ तक गाय तस्करी का प्रश्न है लोग पैसा कमाने के लिष कुछ भी करेंगे ।
घुघूती बासूती

लावण्यम्` ~ अन्तर्मन्` said...

अभय जी
आपकी टिप्पणी के लिए आभार !
स स्नेह,

-- लावन्या

लावण्यम्` ~ अन्तर्मन्` said...

नीशु जी , मनीष भाई आपका भी आभार !
स स्नेह,

-- लावन्या

लावण्यम्` ~ अन्तर्मन्` said...

घुघूती जी सही कह रही हैं ..ये कड़वा सत्य है की लोग पैसों के लिए ऐसा बहोत सा
काम करते हैं जिसे सुनकर हमें अचरज होता है .. आपका भी आभार !
स स्नेह,

-- लावन्या

महावीर said...

तस्करी की यह पराकाष्ठा है। भारत प्राचीन मूर्तियों से पहले ही खाली हो चुका है,
और अब गायों की तस्करी देख कर दुख होता है। इस लाभप्रद जानकारी के लिए
धन्यवाद।